*’गाड़ी में पेट्रोल खत्म,बीमार बच्चे को लेने स्कूल कैसे जाऊं’:पेट्रोल लेने के लिए भटक रहे लोग, बोले- सरकार को जनता की कोई फिक्र नहीं*
जयपुर
राजस्थान में वैट कम करने की मांग को लेकर आज 7000 से ज्यादा पेट्रोल पंप सुबह 10 बजे से शाम 6 बजे तक बंद है। इसका सबसे ज्यादा नुकसान आम जनता को उठाना पड़ रहा है। लोग अपनी गाड़ियों में पेट्रोल और डीजल भराने के लिए अब दर-दर की ठोकर खाने को मजबूर हो रहे हैं।
राजधानी जयपुर में भी हालात काफी बिगड़ गए हैं। सिरसी रोड, 200 फीट बाइपास, वैशाली नगर, MI रोड और मानसरोवर, राजा पार्क में बड़ी संख्या में वाहन चालक पेट्रोल पंप संचालकों से पेट्रोल और डीजल की मांग को लेकर परेशान होते नजर आए। इस दौरान कुछ पेट्रोल पंप पर महिलाएं अपने छोटे बच्चों के साथ परेशान होती नजर आईं। वहीं कुछ जगहों पर आम जनता पेट्रोल पंप संचालकों से ही उलझ गई। इस दौरान बमुश्किल समझाइश कर मामला शांत करवाया गया।
राजस्थान सरकार के खिलाफ प्रदेश भर के लगभग 7000 पेट्रोल पंप सुबह 10 से शाम 6 बजे तक बंद हैं।
राजस्थान सरकार के खिलाफ प्रदेश भर के लगभग 7000 पेट्रोल पंप सुबह 10 से शाम 6 बजे तक बंद हैं।
पेट्रोल पंप संचालकों की हड़ताल आम जनता के लिए परेशानी का कारण बन गई है। जयपुर के सिरसी रोड स्थित कालरा पेट्रोल पंप पर अशोक नागर अपनी बाइक लेकर पहुंचे थे। इसमें पेट्रोल खत्म हो गया था, लेकिन लाख मिन्नतें करने के बाद भी पेट्रोल पंप संचालकों ने उनकी बाइक में पेट्रोल नहीं भरा। बल्कि उनको शाम 6 बजे तक इंतजार करने की बात कही। यह बात बोलने पर नागर नाराज हो गए।
उन्होंने कहा कि मुझे किसी काम से जाना था, लेकिन बाइक में पेट्रोल खत्म हो गया और मुझे परेशान होना पड़ रहा है। उन्होंने कहा- सरकार की लापरवाही का नुकसान आम जनता को उठाना पड़ रहा है। वैट के मुद्दों पर सरकार को समय रहते पेट्रोल पंप मालिकों से बात करनी थी, ताकि आम जनता को दर-दर की ठोकर नहीं खानी पड़े।
पेट्रोल पंप संचालकों की हड़ताल की वजह से जयपुर जिले के 750 पेट्रोल पंप पर भी आम जनता परेशान होती नजर आई।
पेट्रोल पंप संचालकों की हड़ताल की वजह से जयपुर जिले के 750 पेट्रोल पंप पर भी आम जनता परेशान होती नजर आई।
अपनी बाइक में पेट्रोल भराने के लिए परेशान होते जयपुर के सोनू शर्मा ने कहा कि मैं मार्केटिंग का काम करता हूं। आज पेट्रोल नहीं होने की वजह से मेरा काम पूरी तरह से ठप हो चुका है। जब तक पेट्रोल नहीं मिलेगा। मैं अपनी आजीविका के लिए काम नहीं कर पाऊंगा। सरकार को इतने बड़े प्रदर्शन से पहले आम जनता के लिए जरूर सोचना चाहिए था। सरकार बेशर्म हो चुकी है
सोनू ने कहा- वैसे भी सरकार कभी नोट बंद कर देती है। कभी पेट्रोल बंद कर देती है। जनता की कोई फिक्र नहीं करती है। बड़े लोगों को तो सभी सुविधाएं आसानी से मिल जाती है, लेकिन गरीब लोगों को हर एक चीज के लिए घंटों लाइनों में लगना पड़ता है।
सिरसी रोड पर एक्टिवा में पेट्रोल खत्म होने के बाद छोटे बच्चों के साथ परेशान होती महिलाओं ने पंप संचालकों से काफी मिन्नतें की,लेकिन पंप संचालकों ने पेट्रोल नहीं भरा।
सिरसी रोड पर एक्टिवा में पेट्रोल खत्म होने के बाद छोटे बच्चों के साथ परेशान होती महिलाओं ने पंप संचालकों से काफी मिन्नतें की,लेकिन पंप संचालकों ने पेट्रोल नहीं भरा।
जयपुर के MI रोड पर पेट्रोल भराने के लिए परेशान होती दिखी रश्मि ने कहा- आज बच्चे की तबीयत खराब हो गई है। मुझे बच्चे को लेने स्कूल जाना था, लेकिन गाड़ी में पेट्रोल नहीं इस वजह से जगह-जगह परेशान हो रही हूं। पेट्रोल पंप संचालकों से मिन्नतें कर रही हूं, लेकिन कहीं कोई सुनवाई नहीं हो रही है। पेट्रोल पंप संचालक शाम 6 बजे बाद आने की बात कह रहे हैं। आखिर उन्हें कैसे समझाऊं कि मेरा बच्चा बीमार है और स्कूल में परेशान हो रहा है।
मानसरोवर में कोचिंग करने वाले स्टूडेंट रमेश जाट ने कहा- सरकार और पेट्रोल पंप संचालकों की लड़ाई का सबसे ज्यादा नुकसान आम जनता को उठाना पड़ रहा है। आज मैं पेट्रोल नहीं होने की वजह से कोचिंग नहीं जा पा रहा हूं। सिर्फ मैं ही नहीं बल्कि मुझ जैसे सैकड़ों स्टूडेंट इस परेशानी से जूझ रहे हैं, लेकिन इसका कोई समाधान नहीं मिल रहा है।
उन्होंने कहा- ऐसे हालात पैदा होने से पहले ही सरकार को इस तरह की समस्याओं का समाधान करना चाहिए था। वक्त रहते पेट्रोल पंप संचालकों से बातचीत कर हड़ताल नहीं होनी देनी चाहिए थी, क्योंकि पेट्रोल रोजमर्रा के जीवन की ऐसी वस्तु बन चुका है। इसके बिना न सिर्फ गाड़ियों के पहिए बल्कि जीवन के पहिए भी रुक सकते हैं।
मानसरोवर में कोचिंग स्टूडेंट पेट्रोल पंप संचालकों की हड़ताल की वजह से एक काफी परेशान नजर आए। बड़ी संख्या में स्टूडेंट्स निर्धारित वक्त पर अपने कोचिंग इंस्टीट्यूट नहीं पहुंच सके।
मानसरोवर में कोचिंग स्टूडेंट पेट्रोल पंप संचालकों की हड़ताल की वजह से एक काफी परेशान नजर आए। बड़ी संख्या में स्टूडेंट्स निर्धारित वक्त पर अपने कोचिंग इंस्टीट्यूट नहीं पहुंच सके।
राजस्थान पेट्रोलियम डीलर एसोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. राजेंद्र सिंह भाटी ने कहा कि हमने हड़ताल से 2 सप्ताह पहले ही सरकार तक अपनी जायज मांगें पहुंचाई थी, लेकिन कहीं कोई सुनवाई नहीं हुई। इसलिए आज मजबूरन हमें 8 घंटे पंप बंद रखने का फैसला लेना पड़ा है। गुरुवार को भी इसी तरह सुबह 10 बजे से शाम 6 बजे तक पेट्रोल पंप बंद रखेंगे। इस दौरान न तो पेट्रोल बेचा जाएगा और न ही पेट्रोल-डीजल खरीदा जाएगा। अगर इसके बाद भी सरकार ने हमारी मांगों को पूरा नहीं किया तो 15 सितंबर से प्रदेशभर के पेट्रोल पंप अनिश्चित कालीन वक्त के लिए बंद कर दिए जाएंगे। इसके लिए राजस्थान सरकार जिम्मेदार होगी।
राजस्थान पेट्रोलियम डीलर एसोसिएशन के महासचिव शशांक कोरानी ने कहा- देश में सबसे ज्यादा वैट राजस्थान में वसूला जा रहा है। इसका नुकसान पेट्रोल पंप संचालकों और आम जनता को उठाना पड़ रहा है। आसपास के राज्यों में पेट्रोल की कीमत काफी कम है, ऐसे में सीमावर्ती क्षेत्र में रहने वाली जनता पड़ोसी राज्यों से पेट्रोल और डीजल भरवाती है, जबकि जो माल वाहक गाड़ियां हैं। उनके ड्राइवर दूसरे राज्यों से अवैध तरीके से पेट्रोल भरकर राजस्थान लाते हैं। वह राजस्थान में पेट्रोल नहीं भरवाते हैं और यहां पर पेट्रोल और डीजल की कालाबाजारी भी करते हैं। इससे सरकार को भी राजस्व का नुकसान उठाना पड़ रहा है। इसके बावजूद सरकार मौन साधे बैठी है, जो राजस्थान के भविष्य के लिए खतरनाक साबित हो सकता है।
राजस्थान पेट्रोलियम डीलर एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष सुनीत बगई ने कहा कि अगर सरकार वैट कम कर देती है, तो इसका सबसे ज्यादा फायदा आम जनता को मिलेगा। वैट कम होने से प्रदेश में पेट्रोल और डीजल की कीमत में 9 से लेकर 15 रुपए तक कमी आएगी। अगर सरकार ने ऐसा नहीं किया तो इसका नुकसान भी उनको उठाना पड़ेगा।