संस्कार भारती द्वारा’ समरसता’ विषय पर गोष्ठी का आयोजन।
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गुलाबपुरा (रामकिशन वैष्णव)
आदिकवि महर्षि वाल्मीकि के प्राकट्यदिवस अश्विन पूर्णिमा “वाल्मीकि जयन्ती” के मंगल प्रसंग पर संस्कार भारती, गुलाबपुरा द्वारा “समरसता” विषय पर गोष्ठी आयोजन किया गया । जिसमें मुख्य वक्ता- अरुण कांत शर्मा,अखिल भारतीय संगीत विधा संयोजक ,संस्कार भारती रहे l
कार्यक्रम की शुरुआत
मुख्य वक्ता अरुण कांत शर्मा, श्याम लाल नकवाल , पूर्व चेयरमैन पालिका
इंदर चंद टेलर व
गोपाल लाल भील , राष्ट्रीय महासचिव , भील समाज विकास समिति द्वारा संत वाल्मीकि व नटराज की प्रतिमा के समक्ष दीप प्रज्वलन व पुष्प अर्पण के द्वारा हुई l इस अवसर पर संत वाल्मीकि जी के जीवन पर गोपाल लाल भील ने भी प्रकाश डाला। मुख्य वक्ता अरुण कांत ने बताया कि
संत की कोई जाति नहीं होती हैं , केवल धर्म होता हैं |
सामाजिक समरसता व सद्भाव के प्रतीक संत वाल्मीकि के जीवन पर प्रकाश डाला गया व बताया गया कि संत बाल्मीकि के आश्रम में माता सीता रही व यहीं पर *लव व कुश* को जन्म दिया l
कार्यक्रम में इकाई अध्यक्ष दिनेश राठी ने कार्यक्रम में आये सभी श्रोताओं व इकाई सदस्यों का आभार ज्ञापित किया l