खारीग्राम मयूर मिल में चल रही श्री मद्भभागवत कथा में ध्रुव व भगवान् वामन प्रसंग के बारे में बताया।
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गुलाबपुरा (रामकिशन वैष्णव) स्थानीय मयूर खारीग्राम मिल में चल रही सात दिवसीय श्री मद् भागवत् कथा के तीसरे दिन कथा वाचक पंडित श्री दीनदयाल जी शास्त्री वृन्दावन वाले महाराज ने कथा में ध्रुव चरित्र का वर्णन सुनाया और बताया कि ध्रुव जी ने छोटी सी उम में 4 महीने का तप किया किया और भगवान के दर्शन किये एवं भरत जी की कथा पर प्रकाश देते हुए वामन भगवान की कथा सुनाते हुए कहा कि एक बार देवताओं के स्वर्ग को राजा बली ने अपने कब्जे में ले लिया, तो वामन भगवान् ने समय आने पर माता अदिति के महलो में वामन रूप में जन्म लिया और भिक्षा में मांगकर तीनो लोको को समर्पित किया । पंडित शास्त्री ने कहा कि श्री मदभागवत की कथा अनेको जन्म के पुष्य उदय होते हैं, तो ही भागवत कथा सुनने को मिलती है।
खारीग्राम मयूर मिल में चल रही श्री मद्भभागवत कथा में ध्रुव व भगवान् वामन प्रसंग के बारे में बताया।

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